बा इत्तिला माता प्रसाद कान्सटेबल नंबर-7 तकरीबन 7 बजे सुबह के, जब मैं जन्मभूमि पहुंचा, तो मालूम हुआ कि तखमीनन 50-60 अफराद का मजमा कुफुल, जो बाबरी मस्जिद के कम्पाउन्ड में लगे हुए थे, तोड़ कर व नीज दीवार के जरिये सीढ़ी फांद कर अन्दर मस्जिद मदाखिलत कर के मूर्ती श्री भगवान की स्थापित ( कायम) कर दी और दीवारों पर अन्दर बहार सीता राम जी वगैरा गेरू से व पीले रंगे से लिख दिया, कान्सटेबल नंबर 7 बंस राज मामूर ड्यूटी मना किया, नहीं माने, पी.एस.सी की गारद, जो वहां मौजूद थी, इमदाद के लिए बुलाई, लेकिन उस वक्त तक लोग अन्दर तक मस्जिद में दाखिल हो चुके थे, अफसरान वाला, जिला, मौके पर तशरीफ़ लाये और मसरुफे-इंतजाम रहे। बादहू मजमा तख्मिनन 5-6 हजार इकठ्ठा होकर मजहबी नारे व कीर्तन लगा कर, अन्दर जाना चाहते थे, लेकिन माकूल इंतजाम होने की वजह से, राम सुकुल दस, सुदर्शन दस व पचास साठ अफराद न मालूम ने बलवा कर के मस्जिद में मदाखिलत कर के मूर्ति स्थापित करके, मस्जिद नापाक की है, मुलाजिमीन मामूरह ड्यूटी के बहुत से अफराद ने इसको देखा है लिहाजा चेक की गयी, सही है।
नोट- मैं हेड मुहर्रिर तसदीक करता हूँ कि हस्ब बयान एस.ई इत्तलाती रिपोर्ट में लफ्ज नाकाबिले तहरीर लिखा गया……….पढ़ा सही है।
दस्तखत
परमेश्वर सिंह, हेड मुहर्रिर
23-12-49
मुहर
अभी तमन्ना पूरी नहीं हुई क्या…